अनदेखी का ओवरलोड : बगैर सप्लाई बेकार खड़े खंभे कभी भी दे सकते हैं दगा
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- बेचारी जनता पर भारी पड़ सकती है माननीयों और हाकिमों की अनदेखी
- मामला सिविल लाइन टू-लेन मुख्य मार्ग पर गाड़े गए अंडरग्राउंड सपोर्ट के लिए बिजली के खंभे से जुड़ा है, जो अब बेकार खड़े हैं
- 2016-17 में करोड़ों रुपए खर्च कर ओवरलोड की समस्या से जूझ रहे रामलीला मैदान पॉवर सब स्टेशन का लोड कम करने हुई थी कोशिश
देवरिया से राबी शुक्ला
KC NEWS। कभी भी जानलेवा हो सकते हैं, हाईवे में तब्दिल सिविल लाइन पर बेकार पड़े बिजली के खंभे। आने वाला मौसम बारिश का है। यदि समय रहते इस पर ध्यान नहीं दिया गया तो जो ताजा हालत हैं, उससे यह कहने में कोई गुरेज नहीं है कि बिजली विभाग, हमारे माननीयों और हाकिमों की अनदेखी हाईवे में तब्दिल सिविल लाइन टू-लेन मुख्य मार्ग पर कभी भी भारी पड़ सकती है। क्योंकि अंडरग्राउड सप्लाई के सपोर्ट के लिए जो बिजली के खंभे गाड़े गए थे, वे बेकार खड़े हैं और अब कमजोर पड़ने के साथ झूकने लगे हैं और इस पर दौड़ रहे तार शहर की सप्लाई के तारों से सट गए हैं। कुछ लोगों ने सिविल लाइन के बिजली के खंभों की तरूवीरें शेयर कीं। उससे यह तो साफ हो गया कि ये बिजली खंभे कभी भी दगा दे सकते हैं और इसका खामियाजा बेचारी भोली-भाली जनता को भोगना सकता है।
बेकार खंभों मे बिजली उतर गई तो बड़े हादसे से इनकार नहीं
सिविल लाइन स्थित रहने वाले कुछ लोगों के मुताबिक खतरा कंसल पेट्रोल पंप के सामने और शिवशक्ति होटल के पास है, क्योंकि यहां अंडर ग्राउंड सपोर्ट के लिए गाड़े गए बिजली खंभों पर जो तार दौड़ाए गए हैं, वे शहर और स्ट्रीट लाइटों की पॉवर सप्लाई वाले तार से सटे गए हैं और झुक गए हैं। लोगों का कहना है कि जिस तरह से इन दिनों बारिश हो रही है, ऐसी स्थिति में कहीं बेकार खड़े इन खंभे में बिजली न उतर जाए। यदि बिजली उतर गई तो बड़ा हादसा हो सकता है।
ऐसे जानिए अनदेखी के मायने
अनदेखी इस माइने में कि ओवरलोड की समस्या से जूझ रहे शहर के रामलीला मैदान स्थित पॉवर हाउस का लोड कम करने के लिए 2016-17 में करोड़ों रुपए खर्च कर भटवलिया पॉवर हाउस से रामलीला मैदान पॉवर हाउस तक 33 केवीए का अंडरग्राउंड तार बिछाया गया था। इसके सपोर्ट के लिए सिविल लाइन में जगह-जगह बेपरवाह तरीके से और मानकों को ताक पर रखकर बिजली के खंभे गाड़े गए थे। लोगों के विरोध के बावजूद काम करने वाले अपने तरीके से ही कार्य किए, नतीजा सामने है। कार्य कंपलीट होने के बाद जब पॉवर सप्लाई देकर लाइन चालू की गई तो लाइन चालू होते ही फाल्ट हो गया। इसके बाद इस मुद्दे पर मई 2021 तक विभाग कोई कार्रवाई नहीं कर सका।
पैदल पथ बनाए जाने में भी बाधक हैं ये खंभे
सूत्रों की मानें तो विभाग इस कार्य को खारिज कर चुका है, लेकिन विभाग ने हाइवे में तब्दील सिविल लाइन जैसी सड़क पर बेतरतीब ढंग से गाड़े गए खंभों को हटाने की दिशा में अभी तक कोई कार्रवाई नहीं कर पाया, जबकि इस टू-लेन सड़क पर बनाए जाने वाले पैदल पथ में भी ये बिजली के खंभे बाधक बन रहे हैं और जानलेवा भी, फिर भी विभाग छुप्पी साधे हुए।
जानें कैसे एक्टिव हुए सदर विधायक
सदर विधायक डॉ. सत्य प्रकाश मणि त्रिपाठी से जब इस पूरे मामले पर बात की गई तो, उन्होंने कहा कि ये मामला उनके संज्ञान में नहीं था। इसके बाद विधायक ने बिजली विभाग के एक्सीयन को फोन लगाया और वस्तु स्थिति की जानकारी देते हुए कहा कि किसी भी घटना-दुघर्टना के लिए आप जिम्मेदार होंगे।
विधायक की बात के बाद एक्सीयन ने जेई को लगाया फोन
विधायक की कड़वी बात के बाद एक्सीयन ने फौरन साइड के जेई पुष्कर उपाध्याय को फोन लगाया और मौके की नजाकत को जाना। मौके पर पहुंचे जेई ने कहा कि बिजली का खंभा झुक गया है पर खतरा नहीं है, इसे ठीक करा दिया जाएगा। यानी लोगों की बातों में सच्चाई है। जेई ने एक बात नहीं बताई कि झुके हुए खंभे के तार पॉवर सप्लाई के तार सटे हैं, जबकि इसी वजह से लोगों को डर है कि कहीं बेकार पड़े खंभे में बिजली न उतर जाए। यानी खतरा है टला नहीं है, जो ठीक होने के बाद ही टलेगा।
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