देवरिया : 18 वर्षीय युवक की हत्या के बाद फूटा लोगों का गुस्सा, जब सड़क पर आई जनता तब खुली प्रशासन की नींद

- साढ़े तीन घंटे तक जाम रहा यूपी-बिहार को जोड़ने वाली सलेमपुर मैरवा मार्ग
Khabari Chiraiya Desk: जब जनता के सब्र का बांध टूटा तो जनता सड़क पर आ गई और जब जनता सड़क पर आई तब प्रशासन की नींद खुली और जनपद से लेकर तहसील तक का अमला सड़क पर दिखने लगा और बिगड़े हालात को काबू करने में करीब साढ़े तीन घंटे का समय प्रशासन को लग गया। यह खबर यूपी के जनपद देवरिया से है। मामला 18 वर्षीय युवक की हत्या से जुड़ा है। बताया गया कि जनपद के भाटपार रानी तहसील अंर्तगत बनकटा थाना क्षेत्र के ग्राम कोठिलवा निवासी उमेश यादव के 18 वर्षीय इकलौते पुत्र मनु यादव की चाकू से गोदकर हत्या कर दी गई। कोठिलवा गांव से करीब 3 किलोमीटर दूर भाटपार रानी थाना क्षेत्र स्थित बरईपार गांव के बरईठा पोखरे के समीप युवक का शव पाया गया। 18 वर्षीय युवक की हत्या के पीछे की वजह क्या है यह बात तो सामने नहीं आई है, इसका सच तो पुलिस की तफ्तीश और हत्या के आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद ही सामने आएगा। पर यह तो सच है कि एक परिवार का इकलौता चिराग बुझ गया।
बताया गया कि 13 अक्टूबर की सांय मनु यादव को बरईपार गांव में किसी पार्टी में शरीक होने के लिए बुलाकर ले जाया गया और इसके अगले दिन यानी 14 अक्टूबर को मनू यादव का शव मिला। शव मिलने के बाद पूरे इलाके में हड़कंप मचा गया। 15 अक्टूबर को जब पोटस्पार्टम के बाद शव परिजनों को मिला और जब बनकटा पहुंचे तो पुलिस और प्रशासन के बीच लोगों का गुस्सा फूट पड़ा और लोग यूपी-बिहार को जोड़ने वाली सलेमपुर मैरवा मार्ग पर शव को रख कर पुलिस और प्रशासन के खिलाफ अपनी भड़ास निकालनी शुरू कर दी।
लोग पुलिस और प्रशासन के जिम्मेदार हुक्मरानों को बुलाने की बात करने लगे। इस दौरान तमाम स्थानीय अफसर लोगों को समझाने की कोशिश करते रहे लेकिन बात नहीं बनी बुधवार देर रात भाटपार रानी एसडीएम रत्नेश कुमार त्रिपाठी की भावात्मक अपील और आश्वासन के बाद लोगों का गुस्सा शांत हुआ इसके बाद लोग सड़क से शव उठाने को राजी हुए। मौके पर अपर पुलिस अधीक्षक सुनील कुमार, सीओ भाटपार रानी अंशुमान श्रीवास्तव आसपास के सभी थानों के प्रभारी पुलिस बल के साथ मौजूद रहे।
बताया जाता है कि भाटपार रानी तहसील अंर्तगत बनकटा थाना क्षेत्र के ग्राम कोठिलवा निवासी उमेश यादव की तीन संतान दो बेटियों में 18 वर्षीय मनु यादव इकलौता पुत्र था। उमेश यादव विदेश में नौकरी करते हैं। मनु घर में अपनी मां और बहनों के साथ रह रहा था। जब मनु घर से निकला तो घर वालों ने मनु से लौटते समय मछली लेकर आने को कहा था। जब रात होने लगी तो घर के लोगों को चिंता होने लगी और परिवार के लोग बदहवास होकर मनु की खोजबीन करने लगे, लेकिन मनु का कहीं कोई अता पता नहीं चला। बहन सहित मां की किसी अनहोनी का भय सताने लगा।
खोजबीन में अचानक मनु की बाइक सलेमपुर मैरवा मुख्य मार्ग के बाई पटरी पर मिली। बाइक का मुख मैरवा की तरफ थी और चाबी बाइक में ही लगी थी। इसके बाद परिवार के लोग आसपास मनु की तलाश करने लगे इतने में बरईपार गांव के बरईठा पोखरे के समीप मनु का शव पाया गया। शव देखते ही मां और बहन दहाड़ मार कर रोने लगीं। आसपास लोगों की भीड़ जुटने लगी। मौके की नजाकत को देखकर सभी लोगों की आंखें नम हो गईं। इसकी सूचना पर पहुंची स्थानीय पुलिस ने शव को कब्जे में ले लिया और पोस्टमार्टम के भेज दिया। बेटे की हत्या की खबर विदेश में रह रहे पिता को भेजी गई।
बताया जाता है कि पोस्टमार्टम के बाद मनु का पार्थीव शरीर पहुंचा और उधर, मनु के पिता विदेश से पहुंचे। बेटे का पार्थीव शरीर देखकर पिता फूट-फूट कर रोने लगे लोग हत्यारों की गिरफ्तारी और परिजनों की सुरक्षा की मांग करने लगे। पुलिस की पुलिसिंग पर सवाल खड़ा करने लगे। देखते-देखते बड़ी संख्या में लोगों की भीड़ जुट गई और यूपी-बिहार को जोड़ने वाली सलेमपुर मैरवा मार्ग पर शव को रख कर जाम कर दिया था।
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