पटना : नीतीश सरकार का बड़ा दांव, उद्योगपतियों को मिलेगा ‘विशेष तोहफा’

- छह महीने में उद्योग लगाने वालों के लिए बिहार बनेगा अवसरों की नई धरती, सब्सिडी, टैक्स छूट और जमीन मुफ्त देने की घोषणा
Khabari Chiraiya Desk : पटना के ऐतिहासिक गांधी मैदान से स्वतंत्रता दिवस पर किए गए वादे को शनिवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने नई ऊर्जा और आत्मविश्वास के साथ आगे बढ़ाया। उन्होंने सोशल मीडिया पर विस्तार से बताया कि बिहार अब केवल खेती-किसानी का राज्य नहीं रहेगा, बल्कि उद्योग और निवेश का भी नया गढ़ बनेगा। सरकार ने तय किया है कि जो भी उद्यमी आने वाले छह महीनों में बिहार में उद्योग लगाएंगे, उन्हें विशेष पैकेज के तहत ऐसी सुविधाएं दी जाएंगी, जिनसे उनका बोझ कम हो और रोजगार के अवसर बढ़ सकें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार का विज़न अब सिर्फ सरकारी नौकरियों तक सीमित नहीं है। साल 2020 में ‘सात निश्चय-2’ के तहत 50 लाख युवाओं को नौकरी और रोजगार देने का जो लक्ष्य रखा गया था, उसे पूरा कर लिया गया है। अब बिहार सरकार ने और भी बड़ा लक्ष्य तय किया है-अगले पांच सालों में एक करोड़ युवाओं को नौकरी और रोजगार मुहैया कराना। इसके लिए निजी क्षेत्र को बड़े पैमाने पर प्रोत्साहित किया जाएगा और उद्यमियों को हर तरह की सहूलियत दी जाएगी ताकि वे बिहार को उद्योगों का हब बना सकें।
नई घोषणा के मुताबिक, राज्य में उद्योग लगाने वाले उद्यमियों को अब दोगुनी कैपिटल सब्सिडी और ब्याज सब्सिडी मिलेगी। जीएसटी से जुड़ी प्रोत्साहन राशि भी दोगुनी कर दी जाएगी, जिससे निवेशकों का सीधा लाभ होगा। खास बात यह है कि बड़े पैमाने पर रोजगार देने वाले उद्योगों को जमीन मुफ्त दी जाएगी और जिलों में उद्योगों के लिए जमीन की व्यवस्था सुनिश्चित की जाएगी। उद्योग स्थापना से जुड़े विवादों को खत्म करने के लिए सरकार विशेष कदम उठाएगी ताकि उद्योगपतियों को किसी तरह की अड़चन का सामना न करना पड़े।
नीतीश कुमार ने अपने पोस्ट में साफ किया कि यह पैकेज सिर्फ घोषणाओं तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि अगले छह महीने में उद्योग लगाने वालों को इसका लाभ मिलेगा। उन्होंने कहा कि बिहार में उद्योगों के आने से न केवल युवाओं को रोजगार मिलेगा बल्कि राज्य की अर्थव्यवस्था भी नई उड़ान भरेगी। सरकार का इरादा है कि बिहार निवेश और उद्योग के क्षेत्र में भी देश के अग्रणी राज्यों की कतार में शामिल हो।
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